🌺 14 जुलाई 2025: वैदिक पंचांग व श्रावण सोमवार विशेष 🌺

🌺 14 जुलाई 2025: वैदिक पंचांग व श्रावण सोमवार विशेष 🌺

🙏🏻हर हर महादेव 🙏🏻

🕉️ ~ वैदिक पंचांग ~ 🕉️

  • 🌤️ दिनांक - 14 जुलाई 2025
  • 🌤️ दिन - सोमवार
  • 🌤️ विक्रम संवत - 2082 (गुजरात-महाराष्ट्र अनुसार 2081)
  • 🌤️ शक संवत - 1947
  • 🌤️ अयन - दक्षिणायन
  • 🌤️ ऋतु - वर्षा ऋतु
  • 🌤️ मास - श्रावण (गुजरात-महाराष्ट्र अनुसार आषाढ़)
  • 🌤️ पक्ष - कृष्ण
  • 🌤️ तिथि - चतुर्थी रात्रि 11:59 तक तत्पश्चात पंचमी
  • 🌤️ नक्षत्र - धनिष्ठा सुबह 06:49 तक तत्पश्चात शतभिषा
  • 🌤️ योग - आयुष्मान शाम 04:14 तक तत्पश्चात सौभाग्य
  • 🌤️ राहुकाल - सुबह 07:45 से 09:25 तक
  • 🌤️ सूर्योदय - 06:06
  • 🌤️ सूर्यास्त - 07:22
  • 👉 दिशाशूल - पूर्व दिशा में

🚩 व्रत पर्व विवरण - संकष्ट चतुर्थी (चंद्रोदय: रात्रि 09:56), पंचक

💥 विशेष -

  • चतुर्थी को मूली खाने से धन का नाश होता है। (ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-34)
  • चतुर्मास के दिनों में ताँबे व काँसे के पात्रों का उपयोग न करें।
  • पलाश के पत्तों की पत्तल पर भोजन करना पापनाशक है।

🌷 श्रावण सोमवार 🌷

🙏🏻 भगवान शिव का पवित्र श्रावण (सावन) मास आरंभ हो चुका है। (उत्तर भारत में)
गुजरात एवं महाराष्ट्र में अषाढ़ मास चल रहा है, वहां 25 जुलाई, शुक्रवार से श्रावण मास आरंभ होगा।

📜 भगवान शिव कहते हैं –
मत्स्वरूपो यतो वारस्ततः सोम इति स्मृतः। प्रदाता सर्वराज्यस्य श्रेष्ठश्चैव ततो हि सः। समस्तराज्यफलदो वृतकर्तुर्यतो हि सः।
➡ अर्थात सोमवार मेरा ही स्वरूप है, व्रतकर्ता को राज्यफल देने वाला है।

🙏🏻 “सोमे मत्पूजा नक्तभोजनं” अर्थात सोमवार को मेरी पूजा व नक्तभोजन अनिवार्य है।

📖 श्रीकृष्ण द्वारा प्रथम सोमवार व्रत: “कृष्णे नाचरितं पूर्वं सोमवारव्रतं शुभम्”

📘 स्कंदपुराण, ब्रह्मखण्ड अनुसार:

शिवपूजा सदा लोके हेतुः स्वर्गापवर्गयोः ।।
सोमवारे विशेषेण प्रदोषादिगुणान्विते ।।
केवलैनापि ये कुर्युः सोमवारे शिवार्चनम् ।।
न तेषां विद्यते किंचिदिहामुत्र च दुर्लभम् ।।

🙏🏻 सोमवार को केवल शिव पूजन से ही स्वर्ग और मोक्ष दोनों की प्राप्ति होती है।

📕 शिवपुराण, कोटिरुद्रसंहिता में वर्णन:

निशि यत्नेन कर्तव्यं भोजनं सोमवासरे ।।
उभयोः पक्षयोर्विष्णो सर्वस्मिञ्छिव तत्परैः ।।

🙏🏻 सोमवार को केवल रात्रि में भोजन करना शिव भक्ति के लिए अनिवार्य है।

🌚 “अष्टमी सोमवारे च कृष्णपक्षे चतुर्दशी” — ये दोनों तिथियाँ भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए श्रेष्ठ मानी गई हैं।

🕉️ ~ जुलाई पंचक 2025 ~ 🕉️

  • पंचक आरंभ: 13 जुलाई 2025, रविवार, शाम 06:53 बजे
  • पंचक समाप्त: 18 जुलाई 2025, शुक्रवार, सुबह 03:39 बजे

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