🌿 चतुर्मास में नहीं करने चाहिए ये 5 काम – जानिए इसके पीछे की आध्यात्मिक वजहें
Meta Description: चतुर्मास के दौरान कौन-कौन से काम वर्जित हैं और क्यों? जानिए चतुर्मास का रहस्य और शास्त्रों की राय।
🌿 चतुर्मास क्या है?
चतुर्मास का अर्थ है "चार महीने" – यह देव शयन काल होता है जब भगवान विष्णु योगनिद्रा में चले जाते हैं। यह काल आध्यात्मिक साधना, उपवास और संयम का समय होता है।
🌱 चतुर्मास में वर्जित कार्य:
- 🥩 मांस-मदिरा का सेवन – ये आत्मा की शुद्धि में बाधक है।
- 💇♂️ बाल और नाखून काटना – परंपरा में इसे अशुभ माना गया है।
- 👰 शादी या शुभ कार्य – इसे देव निद्रा काल माना जाता है।
- ✈️ यात्रा करना – विशेषतः संन्यासियों के लिए वर्जित।
- 💵 कर्ज लेना/देना – आर्थिक दृष्टि से अस्थिरता ला सकता है।
🌸 आध्यात्मिक कारण:
चतुर्मास हमें संयम, साधना और आत्म-निरीक्षण की प्रेरणा देता है। यह आत्मा की ऊर्जा को भीतर मोड़ने का समय होता है।
📿 क्या करें चतुर्मास में?
- नियमित जप, ध्यान, सत्संग
- भजन, व्रत, दान
- गीता/रामायण का अध्ययन
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लेबल्स: चतुर्मास, सनातन धर्म, हिन्दू पर्व, व्रत, धार्मिक ज्ञान
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